2023 में गोवर्धन पूजा का शुभ मुहूर्त:
गोवर्धन पूजा का पर्व कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को मनाया जाता है। यह दिन लोगों को प्रकृति की महत्ता को समझाने में मदद करता है।
2023 में गोवर्धन पूजा की तारीख और समय:
पांच दिनों के दिवाली त्योहार में चौथे दिन गोवर्धन पूजा की जाती है। यह पर्व कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को मनाया जाता है। यह दिन लोगों को प्रकृति की महत्ता को समझाने में मदद करता है। इस दिन घरों में गोवर्धन पर्वत बनाया जाता है और भगवान श्रीकृष्ण की प्रतिमा बनाई जाती है। इसके बाद शाम के समय गोवर्धन पर्वत और भगवान श्रीकृष्ण की पूजा होती है। उन्हें अन्नकूट और कढ़ी चावल का भोग लगाया जाता है। इस साल दिवाली 12 नवंबर को है, लेकिन गोवर्धन पूजा की तिथि को लेकर लोगों के बीच कोन्फ़्यूजन है। चलिए अब हम आपको बताते हैं कि गोवर्धन पूजा किस दिन मनाई जाएगी और पूजा का शुभ समय क्या है।
यहां सही तारीख और शुभ मुहूर्त हैं।
कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि 13 नवंबर को सोमवार को दोपहर 02 बजकर 56 मिनट से शुरू होगी और समाप्त होगी अगले दिन, 14 नवंबर को मंगलवार को दोपहर 02 बजकर 36 मिनट पर। हिंदू धर्म में, इस तिथि को विशेष महत्व दिया जाता है। इसलिए, गोवर्धन पूजा 14 नवंबर को मनाया जाएगा। इस दिन, गोवर्धन पर्वत के नक्काशीत प्रतिमान का पूजन शाम के समय किया जाता है और गोवर्धन पूजा का शुभ समय रात 05:25 से 09:36 तक होगा। गोवर्धन पूजा प्रकृति को समर्पित एक त्योहार है, जिसे माना जाता है कि इस दिन भगवान श्रीकृष्ण ने इंद्रदेव की गर्वितता को तोड़ा और गोवर्धन पर्वत को अपने छोटी उंगली पर उठाकर ब्रजवासियों की रक्षा की थी। इस दिन से गोवर्धन पर्वत की पूजा की जाती है और भगवान को सभी प्रकार की मौसमी सब्जियों से तैयार किए जाने वाले अन्नकूट का भोग चढ़ाया जाता है। गोवर्धन पूजा के दिन गोबर से गोवर्धन बनाकर उसे फूलों से सजाया जाता है। गोवर्धन पूजा शाम के समय मनाई जाती है। पूजन के दौरान गोवर्धन पर धूप, दीप, पुष्प, रोली, अक्षत, प्रसाद आदि चढ़ाया जाता है। खील, बटाशे और अन्नकूट का भोग लगाया जाता है। इसके बाद गोवर्धन पूजा की कथा पढ़ी जाती है। इसके बाद गोवर्धन की सात बार परिक्रमा करते हुए जयकारे लगाए जाते हैं।
Report by: Siddharth Tiwari
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